लाहौल ! जनजातीय जिला लाहौल घाटी में लोहड़ी के दिन स्नो फेस्टिवल का शुभारंभ किया गया। साथ ही लाहौल के पट्टन घाटी में शुक्रवार को उतना व उदन पर्व धूमधाम से मनाया गया है जिसे लोहड़ी कहा जाता है।
उसी दिन लाहौल घाटी के हर गांव में यह पर्व हर्षोल्लास के साथ मनाया गया है। लोहड़ी के दिन त्रिलोक नाथ मंदिर में तीन त्रिलोकी नाथ की मूर्ति को लामा, ठाकुर वीर बहादुर, और ठाकुर प्यारे लाल आदि लोगों ने स्नान कर के साथ में तकनीक शिक्षा मंत्री डाक्टर रामलाल मारकंडे ने पुजारी के साथ तीन त्रिलोकीनाथ की विधिवत पूजा अर्चना की। साथ में समस्त लाहौल वासियों को लोहड़ी की हार्दिक शुभकामनाएं दी।
जनजातीय जिला लाहौल घाटी में लोहड़ी की खूब धूम रहीं। हालांकि लोहड़ी 13 तारीख को मनाई जाती है लेकिन घाटी में लोगों ने वार के हिसाब से इस बार लोहड़ी को मनाया। लोहड़ी के बाद लाहौल घाटी में देवालयों के कपाट बंद हो जाते हैं और लोग घरों में ही पूजा अर्चना किया करते हैं।
बुजुर्गों का कहना है कि लोहड़ी के बाद देवी देवता तीन महीने के लिए स्वर्ग प्रवास चले जाते है और बैसाखी के दिन स्वर्ग से लौटते हैं।