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बद्दी ! दून विधानसभा क्षेत्र में कोरोना संक्रमित लाशों के अंतिम संस्कार को लेकर सियासत तेज हो गई है। पहले कांग्रेस ने आरोप लगाया था कि बददी ईएसआई अस्पताल में कोरोना से हुई मौत के बाद लाश को कूडे की ट्राली मे ले जाया गया जो कि गलत है। वहीं दून भा.ज.पा नेता व नगर परिषद के वाइस चेयरमैन मान सिंह मैहता व जिला महामंत्री युवा मोर्चा संजीव ठाकुर व सोनी लुबाना ने पलटवार करते हुए कांग्रेस पर लाशों को लेकर राजनीति करने का आरोप जड़ा है। उन्होंने कहा कि दून के पूर्व कांग्रेस विधायक रामकुमार के पास विकास को लेकर तो कोई मुददे नहीं बचे हैं और वो लाशों पर सियासत कर अपनी राजनीति बचाने में जुटे हैं। आज बद्दी में पत्रकारों को संबोधित करते हुए नगर परिषद उपाध्यक्ष मान सिंह मैहता ने कहा कि जिस ट्राली में नप कर्मचारी लाश ले गए वो कूडे उठाने की नहीं बल्कि भवन निर्माण का सामान लाती है और पूर्व में भी लावारिस लाशों को इसी में नप ले जाती है। इसको पूरा सैनिटाइज किया। कोरोना संक्रमित लाश को शमशान तक पहुंचाने की जिम्मेदारी स्वास्थ्य विभाग व प्रशासन की होती है जबकि नप सिर्फ जलाती है। परिजनों ने तहसीलदार से निवेदन किया था कि हम शव को अर्की नहीं ले जाना चाहते इसलिए आप इंतजाम करवा दो जिसके लिए उनके पूरे परिवार ने हमारा आभार भी जताया है। हमने शव के लिए ट्रैक्टर ही नहीं दिया बल्कि लकड़ी का इंतजाम भी किया। मान सिंह ने कहा कि पूर्व विधायक का भाई 18 साल तक नगर परिषद पर काबिज रहा और रामकुमार स्वयं भी पांच साल तक एमएलए रहे लेकिन वो शहर की दो लाख आबादी के लिए एक शव वाहन व एक एंबूलेंस उपलब्ध नहीं करवा पाए जो कि शर्मनाक है। मान सिंह ने कहा कि अब पूर्व विधायक सरकार व शासन को आफर दे रहे हैं कि अगर उनके पास वाहन नहीं है तो वह जेब से चार पांच वाहन दे सकते हैं तो एक साल से चल रहे कोरोना संकट काल में अब तक वाहन दिए क्यों नहीं ? ईओ ने कहा कि बदनाम करने की साजिश- वहीं दूसरी ओर नगर परिषद के कार्यकारी अधिकारी ईओ रणवीर सिंह वर्मा ने कहा कि उन्होंने पूरा प्रोटोकॉल फॉलो किया और एक दुखी परिवार की मदद की है लेकिन कुछ लोग इसको मुद्दा बना रहे हैं जो कि गलत है। मृतक के परिवार ने तहसीलदार के पास आग्रह किया था कि लाश को अर्की ले जाना संभव नहीं है इसलिए बद्दी में शव दाहन करना चाहते हैं। ट्राली को पानी से साफ करवा सैनिटाइज कर दिया गया था। नप की लेबर ने इसमें सहयोग किया। तहसीलदार ने कहा पीड़ित परिवार ने आग्रह किया था- तहसीलदार बददी मुकेश शर्मा ने कहा कि हमारे पास परिजनों ने कहा कि कोविड के कारण हम अर्की नहीं बल्कि बद्दी में संस्कार करना चाहते हैं तो उनको वाहन व लकडी उपलब्ध करवाई थी। मृतक के परिजनों ने जिला प्रशासन व नगर पालिका बददी का इस कार्य के लिए बाकायदा धन्यवाद किया है। क्या आपदा में किसी की मदद करना गुनाह है। नगर परिषद खरीदेगी शव वाहन व एम्बुलेंस- नप अध्यक्ष इस संदर्भ में नगर परिषद की चेयरमैन उर्मिला चौधरी, वाईस चेयरमैन मान सिंह मैहता, पार्षद किरण टी गौतम, संतोष कुमारी व तरसेम लाल ने कहा कि हमें कार्यभार संभाले अभी तीन माह ही हुए हैं और हम जनता के समस्त काम शिद्दत से कर रहे हैं। हम शीघ्र ही नगर परिषद एरिया के लिए एक शव वाहन व एक एंबुलेंस खरीद रहे है ताकि लोगों को दिक्कत न आए। नगर परिषद के समस्त भाजपा पार्षदों ने कहा कि दून का चौधरी परिवार अपने आप को सबसे अमीर परिवार बताता है लेकिन जब कुछ देने की बात आती है तो गुम हो जाता है। अगर कांग्रेस नेता जीएस बाली व सुधीर शर्मा की तरह वो भी कोविड में कुछ करना चाहते है तो किसने मना किया है जबकि हर समय संकट में सरकार व शासन का साथ देने की बजाय उसको निशाना बनाना उनकी आदत है। अगर वो पांच एंबुलेंस व शव वाहन बददी शहर को देना चाहते हैं तो हम उनका स्वागत करेंगे बस वो लाशों पर सियासत करना बंद कर दे।
बद्दी ! दून विधानसभा क्षेत्र में कोरोना संक्रमित लाशों के अंतिम संस्कार को लेकर सियासत तेज हो गई है। पहले कांग्रेस ने आरोप लगाया था कि बददी ईएसआई अस्पताल में कोरोना से हुई मौत के बाद लाश को कूडे की ट्राली मे ले जाया गया जो कि गलत है। वहीं दून भा.ज.पा नेता व नगर परिषद के वाइस चेयरमैन मान सिंह मैहता व जिला महामंत्री युवा मोर्चा संजीव ठाकुर व सोनी लुबाना ने पलटवार करते हुए कांग्रेस पर लाशों को लेकर राजनीति करने का आरोप जड़ा है। उन्होंने कहा कि दून के पूर्व कांग्रेस विधायक रामकुमार के पास विकास को लेकर तो कोई मुददे नहीं बचे हैं और वो लाशों पर सियासत कर अपनी राजनीति बचाने में जुटे हैं। आज बद्दी में पत्रकारों को संबोधित करते हुए नगर परिषद उपाध्यक्ष मान सिंह मैहता ने कहा कि जिस ट्राली में नप कर्मचारी लाश ले गए वो कूडे उठाने की नहीं बल्कि भवन निर्माण का सामान लाती है और पूर्व में भी लावारिस लाशों को इसी में नप ले जाती है। इसको पूरा सैनिटाइज किया। कोरोना संक्रमित लाश को शमशान तक पहुंचाने की जिम्मेदारी स्वास्थ्य विभाग व प्रशासन की होती है जबकि नप सिर्फ जलाती है। परिजनों ने तहसीलदार से निवेदन किया था कि हम शव को अर्की नहीं ले जाना चाहते इसलिए आप इंतजाम करवा दो जिसके लिए उनके पूरे परिवार ने हमारा आभार भी जताया है। हमने शव के लिए ट्रैक्टर ही नहीं दिया बल्कि लकड़ी का इंतजाम भी किया। मान सिंह ने कहा कि पूर्व विधायक का भाई 18 साल तक नगर परिषद पर काबिज रहा और रामकुमार स्वयं भी पांच साल तक एमएलए रहे लेकिन वो शहर की दो लाख आबादी के लिए एक शव वाहन व एक एंबूलेंस उपलब्ध नहीं करवा पाए जो कि शर्मनाक है। मान सिंह ने कहा कि अब पूर्व विधायक सरकार व शासन को आफर दे रहे हैं कि अगर उनके पास वाहन नहीं है तो वह जेब से चार पांच वाहन दे सकते हैं तो एक साल से चल रहे कोरोना संकट काल में अब तक वाहन दिए क्यों नहीं ?
ईओ ने कहा कि बदनाम करने की साजिश-
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वहीं दूसरी ओर नगर परिषद के कार्यकारी अधिकारी ईओ रणवीर सिंह वर्मा ने कहा कि उन्होंने पूरा प्रोटोकॉल फॉलो किया और एक दुखी परिवार की मदद की है लेकिन कुछ लोग इसको मुद्दा बना रहे हैं जो कि गलत है। मृतक के परिवार ने तहसीलदार के पास आग्रह किया था कि लाश को अर्की ले जाना संभव नहीं है इसलिए बद्दी में शव दाहन करना चाहते हैं। ट्राली को पानी से साफ करवा सैनिटाइज कर दिया गया था। नप की लेबर ने इसमें सहयोग किया। तहसीलदार ने कहा पीड़ित परिवार ने आग्रह किया था- तहसीलदार बददी मुकेश शर्मा ने कहा कि हमारे पास परिजनों ने कहा कि कोविड के कारण हम अर्की नहीं बल्कि बद्दी में संस्कार करना चाहते हैं तो उनको वाहन व लकडी उपलब्ध करवाई थी। मृतक के परिजनों ने जिला प्रशासन व नगर पालिका बददी का इस कार्य के लिए बाकायदा धन्यवाद किया है। क्या आपदा में किसी की मदद करना गुनाह है। नगर परिषद खरीदेगी शव वाहन व एम्बुलेंस- नप अध्यक्ष
इस संदर्भ में नगर परिषद की चेयरमैन उर्मिला चौधरी, वाईस चेयरमैन मान सिंह मैहता, पार्षद किरण टी गौतम, संतोष कुमारी व तरसेम लाल ने कहा कि हमें कार्यभार संभाले अभी तीन माह ही हुए हैं और हम जनता के समस्त काम शिद्दत से कर रहे हैं। हम शीघ्र ही नगर परिषद एरिया के लिए एक शव वाहन व एक एंबुलेंस खरीद रहे है ताकि लोगों को दिक्कत न आए। नगर परिषद के समस्त भाजपा पार्षदों ने कहा कि दून का चौधरी परिवार अपने आप को सबसे अमीर परिवार बताता है लेकिन जब कुछ देने की बात आती है तो गुम हो जाता है। अगर कांग्रेस नेता जीएस बाली व सुधीर शर्मा की तरह वो भी कोविड में कुछ करना चाहते है तो किसने मना किया है जबकि हर समय संकट में सरकार व शासन का साथ देने की बजाय उसको निशाना बनाना उनकी आदत है। अगर वो पांच एंबुलेंस व शव वाहन बददी शहर को देना चाहते हैं तो हम उनका स्वागत करेंगे बस वो लाशों पर सियासत करना बंद कर दे।
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