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शिमला ! उपायुक्त शिमला अनुपम कश्यप ने कहा कि अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस का उद्देश्य उन विषयों पर बात करने का है जो महिलाओं के लिए समस्या उत्पन्न करते हैं और उनके उज्जवल भविष्य में बाधा बनते हैं। यह हम सबका कर्तव्य है की हम महिलाओं को आगे बढ़ने में हर संभव सहायता करें। उपायुक्त आज अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर गेयटी थियेटर में आयोजित जिला स्तरीय समारोह में बतौर मुख्यातिथि महिलाओं को सम्बोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि आज महिलाएं किसी भी क्षेत्र में पीछे नहीं हैं। उन्होंने कहा कि आज शिमला शहर में यातायात को सुगम बनाने का जिम्मा महिलाएं संभाल रही हैं जोकि उनकी मजबूती को दर्शाता है। इसके अतिरिक्त, शिमला जिला की दो लड़कियों ने हाल ही में अंतरराष्ट्रीय स्तर पर किकबॉक्सिंग में पदक प्राप्त किये हैं। इसी प्रकार, आज प्रदेश में लगभग 1.20 लाख महिलाएं गाड़ियां चला रही है जिसमें कुछ महिलाएं तो बस, ट्रक और अन्य वाहन भी चला रही हैं जो उनकी ताकत को दर्शाता है। *घर-घर से नशे के खात्मे के लिए महिलाओं को आना होगा आगे*उन्होंने कहा कि आज नशे का कारोबार घर-घर तक पहुंच चुका है और इसे घर-घर से निकलने के लिए महिलाओं को आगे आना होगा। उन्होंने कहा कि हमें अपने बच्चों को समय देने की आवश्यकता है ताकि बच्चों और माता-पिता के बीच किसी प्रकार का संवादहीनता न रहे। उन्होंने कहा कि जो काम महिलाएं कर सकती है वो पुरुष नहीं कर सकते। इसलिए सभी महिलाएं अपने बच्चों का विशेष ध्यान रखें और उनसे परस्पर संवाद करती रहे। उन्होंने कहा कि आने वाले पीढ़ी को बचाने का जिम्मा भी महिलाओं के हाथ में है। अनुपम कश्यप ने बताया कि इस वर्ष अंतर्राष्ट्रीय ग्रीष्मोत्सव शिमला भी ड्राइव अगेंस्ट ड्रग्स थीम पर आयोजित किया जा रहा है। वर्ष 2025 में शिमला से चिट्टे को पूरी तरह खत्म करने के किये जा रहे प्रयास - एसएसपी वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक संजीव कुमार गांधी ने कहा कि वर्ष 2025 में शिमला से चिट्टा को पूरी तरह ख़त्म करने के प्रयास पुलिस विभाग द्वारा किये जा रहे हैं और इस मुहीम में महिलाएं महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकती है। उन्होंने कहा कि आज के समय में युवाओं में निराशा है जोकि बेहद चिंताजनक है। उन्होंने कहा कि वह युवाओं में निराशा को दूर करने के भी प्रयास करेंगे। उन्होंने कहा कि जब घर में माँ, बहन, बीवी, बेटी का साथ मिलता है तो हौंसला बढ़ता है और ताकि हम लोग अपनी मंज़िल तक पहुँचते हैं। उन्होंने कहा कि हमें अपने बच्चों को सजग करने की आवश्यकता है की वह नशे से दूर रहे। जब कभी भी बच्चा गलती करता है उसे उसी वक़्त रोकें। केहर महिला कम से कम 3 महिलाओं की करे मदद - संतोष शर्माबाल संरक्षण समिति की अध्यक्ष संतोष शर्मा ने कहा कि हर महिला एक संघर्ष है चाहे वो बड़े पद पर आसीन हो या गृहणी हो। उन्होंने कहा कि महिलाओं को अपने अधिकारों की जानकारी रखनी होगी तभी हमारा समाज बेहतर बनेगा। इसके अतिरिक्त, हर महिला को कम से कम 3 महिलाओं की मदद करनी चाहिए तभी सभी महिलाएं सशक्त बनेगी। *महिलाओं के प्रति लोगों को सोच बदलने की जरुरत - ज्योति राणा*अतिरिक्त जिला दण्डाधिकारी ज्योति राणा ने कहा कि महिलाओं के प्रति लोगों को अपनी सोच बदलने की आवश्यकता है। आज महिला और पुरुष सब सामान है और जब सभी मिलकर चलेंगे तभी समाज सशक्त होगा। *महिलाओं को एआई का प्रशिक्षण देना जरुरी - मीनाक्षी पॉल*प्रिंसिपल डिपार्टमेंट ऑफ़ इवनिंग स्टडीज एचपीयू मीनाक्षी पॉल ने कहा कि अभी भी हमें लैंगिक हिंसा को खत्म करने की दिशा में काम करने की जरूरत है। इसके अतिरिक्त, महिलाओं और बेटियों को आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का प्रशिक्षण प्रदान करना भी जरूरी है ताकि आधुनिक समय में वह और सशक्त बने। उन्होंने आज नशे की गिरफत में लड़कियां भी हैं जोकि चिंता का विषय है। जिला कार्यक्रम अधिकारी ममता पॉल ने स्वागत सम्बोधन प्रस्तुत किया और विभागीय गतिविधियों से सभी को अवगत करवाया। इस दौरान उपायुक्त ने प्रेरणा पट्टिका का भी अनावरण किया। यह पट्टिकाएँ हर पंचायत में लगाई जाएगी जिस पर उस पंचायत की प्रतिभाशाली बेटियों के नाम लिखे जाएंगे। इसके अतिरिक्त, सूचना एवं जनसम्पर्क विभाग के कलाकारों द्वारा लघु नाटिका की प्रस्तुति तथा आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं द्वारा नाटी और गंगी की प्रस्तुति दी गई। कार्यक्रम के दौरान हस्ताक्षर अभियान भी चलाया गया जिसमें उपायुक्त सहित अन्य गणमान्य लोगों ने हस्ताक्षर किए। इसके पश्चात, उपायुक्त ने विभिन्न आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं द्वारा बनाई गई रंगोली का भी अवलोकन किया। इन्हें किया गया सम्मानित जन्म के समय सर्वश्रेष्ठ पंचायत बाल लिंग अनुपात में मशोबरा की धरभोग पंचायत, ननखड़ी की जाहु पंचायत, रोहड़ू की कटलेह पंचायत, शिमला की नाभा पंचायत तथा ठियोग की सतोग पंचायत को सम्मानित किया गया। इसी प्रकार, जन्म के समय सर्वश्रेष्ठ पंचायत लिंग अनुपात में कुमारसैन की जदून पंचायत, ननखड़ी की खामडी़ पंचायत, रोहड़ू से जगोथी पंचायत, शिमला की शांति विहार पंचायत तथा ठियोग की कुठार पंचायत को सम्मानित किया गया। बसंतपुर से आंगनवाड़ी सहायिका निर्मला देवी, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता विद्या देवी, सुपरवाइजर मीरा वर्मा, छोहारा से आंगनवाड़ी सहायिका प्रिया, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता शारदा देवी, सुपरवाइजर अंजु कुमारी, चौपाल से आंगनवाड़ी सहायिका कांता, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता सविता, सुपरवाइजर सत्या मांटा, जुब्बल से आंगनवाड़ी सहायिका अनिता देवी, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता कांता देवी, सुपरवाइजर नवीन पुरोली, कुमारसैन से आंगनवाड़ी सहायिका कमलेश, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता प्रियंका, सुपरवाइजर अंजना वर्मा, मशोबरा से आंगनवाड़ी सहायिका प्रोमिला, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता पार्वती, सुपरवाइजर कौशल्या ठाकुर, ननखड़ी से आंगनवाड़ी सहायिका कुशला, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता नीना, सुपरवाइजर मालती राणा, रामपुर से आंगनवाड़ी सहायिका संतोष कुमारी, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता देवकली, सुपरवाइजर योग राज केदारता, रोहड़ू से आंगनवाड़ी सहायिका कुसुम लता, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता जमीनता देवी, सुपरवाइजर निर्मला चौहान तथा शिमला ग्रामीण से आंगनवाड़ी सहायिका प्रोमिला, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता आरती शर्मा, सुपरवाइजर सुशीला नेगी को सम्मानित किया गया। इस दौरान सरस्वती वंदना, वन्दे मातरम, गंगी, नाटी एवं रंगोली बनाने वाली महिलाओं को भी सम्मानित किया गया। कार्यक्रम में उपमहापौर उमा कौशल, अतिरिक्त उपायुक्त अभिषेक वर्मा, संयुक्त सचिव सामान्य प्रशासन प्रवीण टाक, सहायक आयुक्त गोपाल चंद शर्मा, पंचायती राज संस्थाओं के जनप्रतिनिधि, पार्षदगण, अन्य विभागों के अधिकारी भी उपस्थित रहे।
शिमला ! उपायुक्त शिमला अनुपम कश्यप ने कहा कि अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस का उद्देश्य उन विषयों पर बात करने का है जो महिलाओं के लिए समस्या उत्पन्न करते हैं और उनके उज्जवल भविष्य में बाधा बनते हैं। यह हम सबका कर्तव्य है की हम महिलाओं को आगे बढ़ने में हर संभव सहायता करें। उपायुक्त आज अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर गेयटी थियेटर में आयोजित जिला स्तरीय समारोह में बतौर मुख्यातिथि महिलाओं को सम्बोधित कर रहे थे।
उन्होंने कहा कि आज महिलाएं किसी भी क्षेत्र में पीछे नहीं हैं। उन्होंने कहा कि आज शिमला शहर में यातायात को सुगम बनाने का जिम्मा महिलाएं संभाल रही हैं जोकि उनकी मजबूती को दर्शाता है। इसके अतिरिक्त, शिमला जिला की दो लड़कियों ने हाल ही में अंतरराष्ट्रीय स्तर पर किकबॉक्सिंग में पदक प्राप्त किये हैं। इसी प्रकार, आज प्रदेश में लगभग 1.20 लाख महिलाएं गाड़ियां चला रही है जिसमें कुछ महिलाएं तो बस, ट्रक और अन्य वाहन भी चला रही हैं जो उनकी ताकत को दर्शाता है।
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*घर-घर से नशे के खात्मे के लिए महिलाओं को आना होगा आगे*
उन्होंने कहा कि आज नशे का कारोबार घर-घर तक पहुंच चुका है और इसे घर-घर से निकलने के लिए महिलाओं को आगे आना होगा। उन्होंने कहा कि हमें अपने बच्चों को समय देने की आवश्यकता है ताकि बच्चों और माता-पिता के बीच किसी प्रकार का संवादहीनता न रहे। उन्होंने कहा कि जो काम महिलाएं कर सकती है वो पुरुष नहीं कर सकते। इसलिए सभी महिलाएं अपने बच्चों का विशेष ध्यान रखें और उनसे परस्पर संवाद करती रहे। उन्होंने कहा कि आने वाले पीढ़ी को बचाने का जिम्मा भी महिलाओं के हाथ में है।
अनुपम कश्यप ने बताया कि इस वर्ष अंतर्राष्ट्रीय ग्रीष्मोत्सव शिमला भी ड्राइव अगेंस्ट ड्रग्स थीम पर आयोजित किया जा रहा है। वर्ष 2025 में शिमला से चिट्टे को पूरी तरह खत्म करने के किये जा रहे प्रयास - एसएसपी वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक संजीव कुमार गांधी ने कहा कि वर्ष 2025 में शिमला से चिट्टा को पूरी तरह ख़त्म करने के प्रयास पुलिस विभाग द्वारा किये जा रहे हैं और इस मुहीम में महिलाएं महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकती है। उन्होंने कहा कि आज के समय में युवाओं में निराशा है जोकि बेहद चिंताजनक है। उन्होंने कहा कि वह युवाओं में निराशा को दूर करने के भी प्रयास करेंगे। उन्होंने कहा कि जब घर में माँ, बहन, बीवी, बेटी का साथ मिलता है तो हौंसला बढ़ता है और ताकि हम लोग अपनी मंज़िल तक पहुँचते हैं। उन्होंने कहा कि हमें अपने बच्चों को सजग करने की आवश्यकता है की वह नशे से दूर रहे। जब कभी भी बच्चा गलती करता है उसे उसी वक़्त रोकें।
केहर महिला कम से कम 3 महिलाओं की करे मदद - संतोष शर्मा
बाल संरक्षण समिति की अध्यक्ष संतोष शर्मा ने कहा कि हर महिला एक संघर्ष है चाहे वो बड़े पद पर आसीन हो या गृहणी हो। उन्होंने कहा कि महिलाओं को अपने अधिकारों की जानकारी रखनी होगी तभी हमारा समाज बेहतर बनेगा। इसके अतिरिक्त, हर महिला को कम से कम 3 महिलाओं की मदद करनी चाहिए तभी सभी महिलाएं सशक्त बनेगी।
*महिलाओं के प्रति लोगों को सोच बदलने की जरुरत - ज्योति राणा*
अतिरिक्त जिला दण्डाधिकारी ज्योति राणा ने कहा कि महिलाओं के प्रति लोगों को अपनी सोच बदलने की आवश्यकता है। आज महिला और पुरुष सब सामान है और जब सभी मिलकर चलेंगे तभी समाज सशक्त होगा।
*महिलाओं को एआई का प्रशिक्षण देना जरुरी - मीनाक्षी पॉल*
प्रिंसिपल डिपार्टमेंट ऑफ़ इवनिंग स्टडीज एचपीयू मीनाक्षी पॉल ने कहा कि अभी भी हमें लैंगिक हिंसा को खत्म करने की दिशा में काम करने की जरूरत है। इसके अतिरिक्त, महिलाओं और बेटियों को आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का प्रशिक्षण प्रदान करना भी जरूरी है ताकि आधुनिक समय में वह और सशक्त बने। उन्होंने आज नशे की गिरफत में लड़कियां भी हैं जोकि चिंता का विषय है।
जिला कार्यक्रम अधिकारी ममता पॉल ने स्वागत सम्बोधन प्रस्तुत किया और विभागीय गतिविधियों से सभी को अवगत करवाया। इस दौरान उपायुक्त ने प्रेरणा पट्टिका का भी अनावरण किया। यह पट्टिकाएँ हर पंचायत में लगाई जाएगी जिस पर उस पंचायत की प्रतिभाशाली बेटियों के नाम लिखे जाएंगे। इसके अतिरिक्त, सूचना एवं जनसम्पर्क विभाग के कलाकारों द्वारा लघु नाटिका की प्रस्तुति तथा आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं द्वारा नाटी और गंगी की प्रस्तुति दी गई।
कार्यक्रम के दौरान हस्ताक्षर अभियान भी चलाया गया जिसमें उपायुक्त सहित अन्य गणमान्य लोगों ने हस्ताक्षर किए। इसके पश्चात, उपायुक्त ने विभिन्न आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं द्वारा बनाई गई रंगोली का भी अवलोकन किया।
इन्हें किया गया सम्मानित
जन्म के समय सर्वश्रेष्ठ पंचायत बाल लिंग अनुपात में मशोबरा की धरभोग पंचायत, ननखड़ी की जाहु पंचायत, रोहड़ू की कटलेह पंचायत, शिमला की नाभा पंचायत तथा ठियोग की सतोग पंचायत को सम्मानित किया गया। इसी प्रकार, जन्म के समय सर्वश्रेष्ठ पंचायत लिंग अनुपात में कुमारसैन की जदून पंचायत, ननखड़ी की खामडी़ पंचायत, रोहड़ू से जगोथी पंचायत, शिमला की शांति विहार पंचायत तथा ठियोग की कुठार पंचायत को सम्मानित किया गया।
बसंतपुर से आंगनवाड़ी सहायिका निर्मला देवी, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता विद्या देवी, सुपरवाइजर मीरा वर्मा, छोहारा से आंगनवाड़ी सहायिका प्रिया, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता शारदा देवी, सुपरवाइजर अंजु कुमारी, चौपाल से आंगनवाड़ी सहायिका कांता, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता सविता, सुपरवाइजर सत्या मांटा, जुब्बल से आंगनवाड़ी सहायिका अनिता देवी, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता कांता देवी, सुपरवाइजर नवीन पुरोली, कुमारसैन से आंगनवाड़ी सहायिका कमलेश, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता प्रियंका, सुपरवाइजर अंजना वर्मा, मशोबरा से आंगनवाड़ी सहायिका प्रोमिला, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता पार्वती, सुपरवाइजर कौशल्या ठाकुर, ननखड़ी से आंगनवाड़ी सहायिका कुशला, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता नीना, सुपरवाइजर मालती राणा, रामपुर से आंगनवाड़ी सहायिका संतोष कुमारी, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता देवकली, सुपरवाइजर योग राज केदारता, रोहड़ू से आंगनवाड़ी सहायिका कुसुम लता, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता जमीनता देवी, सुपरवाइजर निर्मला चौहान तथा शिमला ग्रामीण से आंगनवाड़ी सहायिका प्रोमिला, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता आरती शर्मा, सुपरवाइजर सुशीला नेगी को सम्मानित किया गया।
इस दौरान सरस्वती वंदना, वन्दे मातरम, गंगी, नाटी एवं रंगोली बनाने वाली महिलाओं को भी सम्मानित किया गया।
कार्यक्रम में उपमहापौर उमा कौशल, अतिरिक्त उपायुक्त अभिषेक वर्मा, संयुक्त सचिव सामान्य प्रशासन प्रवीण टाक, सहायक आयुक्त गोपाल चंद शर्मा, पंचायती राज संस्थाओं के जनप्रतिनिधि, पार्षदगण, अन्य विभागों के अधिकारी भी उपस्थित रहे।
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