हिमाचल प्रदेश में बर्बादी ही बर्बादी चल रही है, फिर भी यह लोग जश्न की बात कर रहे हैं
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शिमला, 06 दिसंबर [ विशाल सूद ] ! भाजपा के पूर्व मंत्री सुखराम चौधरी एवं प्रदेश महामंत्री बिहारी लाल।शर्मा ने कहा कि कांग्रेस के युवा मंत्री को टिप्पणी करने से पहले सोच लेना चाहिए। जिस मंत्री के महकमे में ठेकेदारों की 800 करोड़ की पेमेंट नहीं हो पा रही है वह मंत्री अपनी उपलब्धियां क्या गिना रहे हैं यह समझ से परे है, लगता है मंत्री लिपट पोथी करने में एक्सपर्ट है तभी सरकार के पक्ष में उपलब्धियां गिनने आ गए। हाल ही में कुछ दिन पहले इनको और इनकी माता जी को तो यह भी नहीं पता था कि सरकार किसी प्रकार का 2 वर्ष पर कार्यक्रम भी करने जा रही है। इस प्रकार की वाणी तो उनकी मीडिया में भी प्रचलित रही है। उन्होंने कहा कि हिमाचल में ठेकेदार आर्थिक संकट संकट में घिर गए हैं। पीडब्ल्यूडी समेत तमाम विभागों में विकास परियोजनाओं को सिरे चढ़ाने वाले ठेकेदारों को भुगतान नहीं हो पा रहा है। राज्य भर में अकेले पीडब्ल्यूडी के ही करीब 800 करोड़ रुपए फंसने की बात कही जा रही है। 21 नवंबर के बाद ट्रेजरी में पहुंचे बिलों का भुगतान नहीं हो पाया है। अकेले पीडब्ल्यूडी की बात करें, तो नाबार्ड समेत अन्य सड़क प्रोजेक्ट में काम कर रहे ठेकेदारों के बिल विभाग के पास पहुंच रहे हैं और विभाग इन बिलों को ट्रेजरी में भुगतान के लिए बढ़ा रहा है। ट्रेजरी में जाकर बिल फंस रहे हैं। इससे ठेकेदारों समेत उनके पास काम करने वाले मजदूर घोर आर्थिक संकट में हैं। ठेकेदारों ने इस बारे में पीडब्ल्यूडी मंत्री और डायरेक्टर ट्रेजरी से भी शिकायत की है पर मंत्री जी के कान बंद हो चुके है। उन्होंने कहा की मंत्री जी को एक चीज तो बतानी चाहिए कि वह जश्न किस बात का मानना चाहते हैं। आईजीएमसी में इलाज नहीं हो रहे हैं, टेस्ट बंद है, कर्मचारी हड़ताल पर जाना चाहते हैं, पेंशन का भुगतान नहीं हो रहा है, हिमाचल भवन नीलामी पर लग जाता है, शिमला से कामगार बोर्ड का दफ्तर बंद हो जाता है और मुख्यमंत्री के जिला में शिफ्ट होकर दिया जाता है, बिजली बोर्ड में घोटाला हो जाता है, राशन दाल खाद्य तेल डीजल सब महंगा हो जाता है क्या इसी बर्बादी का जश्न मनानी चाहते है सुक्खू और उनके मंत्री। आईजीएमसी अस्पताल में सफाई, वार्ड अटेंडेंट, ईसीजी व लॉन्ड्री कर्मचारियों को पिछले दो माह से वेतन नहीं मिला है। आलम यह है कि कर्मी प्रबंधन के कार्यालय के कई बार चक्कर भी काट चुके हैं। हिमाचल प्रदेश में बर्बादी ही बर्बादी चल रही है, फिर भी यह लोग जश्न की बात कर रहे हैं। सरकार के पास पैसे की कमी हो रही है ट्रेज़री खाली है, पर फिर भी कांग्रेस के नेता जश्न की बात कर रहे हैं यह है कांग्रेस सरकार का सुख राज।
शिमला, 06 दिसंबर [ विशाल सूद ] ! भाजपा के पूर्व मंत्री सुखराम चौधरी एवं प्रदेश महामंत्री बिहारी लाल।शर्मा ने कहा कि कांग्रेस के युवा मंत्री को टिप्पणी करने से पहले सोच लेना चाहिए। जिस मंत्री के महकमे में ठेकेदारों की 800 करोड़ की पेमेंट नहीं हो पा रही है वह मंत्री अपनी उपलब्धियां क्या गिना रहे हैं यह समझ से परे है, लगता है मंत्री लिपट पोथी करने में एक्सपर्ट है तभी सरकार के पक्ष में उपलब्धियां गिनने आ गए।
हाल ही में कुछ दिन पहले इनको और इनकी माता जी को तो यह भी नहीं पता था कि सरकार किसी प्रकार का 2 वर्ष पर कार्यक्रम भी करने जा रही है। इस प्रकार की वाणी तो उनकी मीडिया में भी प्रचलित रही है।
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उन्होंने कहा कि हिमाचल में ठेकेदार आर्थिक संकट संकट में घिर गए हैं। पीडब्ल्यूडी समेत तमाम विभागों में विकास परियोजनाओं को सिरे चढ़ाने वाले ठेकेदारों को भुगतान नहीं हो पा रहा है। राज्य भर में अकेले पीडब्ल्यूडी के ही करीब 800 करोड़ रुपए फंसने की बात कही जा रही है। 21 नवंबर के बाद ट्रेजरी में पहुंचे बिलों का भुगतान नहीं हो पाया है।
अकेले पीडब्ल्यूडी की बात करें, तो नाबार्ड समेत अन्य सड़क प्रोजेक्ट में काम कर रहे ठेकेदारों के बिल विभाग के पास पहुंच रहे हैं और विभाग इन बिलों को ट्रेजरी में भुगतान के लिए बढ़ा रहा है। ट्रेजरी में जाकर बिल फंस रहे हैं। इससे ठेकेदारों समेत उनके पास काम करने वाले मजदूर घोर आर्थिक संकट में हैं। ठेकेदारों ने इस बारे में पीडब्ल्यूडी मंत्री और डायरेक्टर ट्रेजरी से भी शिकायत की है पर मंत्री जी के कान बंद हो चुके है।
उन्होंने कहा की मंत्री जी को एक चीज तो बतानी चाहिए कि वह जश्न किस बात का मानना चाहते हैं। आईजीएमसी में इलाज नहीं हो रहे हैं, टेस्ट बंद है, कर्मचारी हड़ताल पर जाना चाहते हैं, पेंशन का भुगतान नहीं हो रहा है, हिमाचल भवन नीलामी पर लग जाता है, शिमला से कामगार बोर्ड का दफ्तर बंद हो जाता है और मुख्यमंत्री के जिला में शिफ्ट होकर दिया जाता है, बिजली बोर्ड में घोटाला हो जाता है, राशन दाल खाद्य तेल डीजल सब महंगा हो जाता है क्या इसी बर्बादी का जश्न मनानी चाहते है सुक्खू और उनके मंत्री।
आईजीएमसी अस्पताल में सफाई, वार्ड अटेंडेंट, ईसीजी व लॉन्ड्री कर्मचारियों को पिछले दो माह से वेतन नहीं मिला है। आलम यह है कि कर्मी प्रबंधन के कार्यालय के कई बार चक्कर भी काट चुके हैं। हिमाचल प्रदेश में बर्बादी ही बर्बादी चल रही है, फिर भी यह लोग जश्न की बात कर रहे हैं। सरकार के पास पैसे की कमी हो रही है ट्रेज़री खाली है, पर फिर भी कांग्रेस के नेता जश्न की बात कर रहे हैं यह है कांग्रेस सरकार का सुख राज।
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