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कुल्लू , 19 अप्रैल [ विशाल सूद ] ! प्रदेश की राजनीति इन दिनों एक अनोखी उड़ान पर है। हाल ही में प्रदेश के उपमुख्यमंत्री एवं पंचायती राज मंत्री अनिरुद्ध सिंह की एक निजी हेलीकॉप्टर के माध्यम से की गई गुप्त मुलाकात ने पूरे हिमाचल में चर्चा का विषय बना दिया है। इस यात्रा को लेकर न सुरक्षा अधिकारी मौजूद थे और न ही जिला प्रशासन की कोई भूमिका नजर आई—आख़िर यह मुलाकात थी तो थी किससे? भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश उपाध्यक्ष एवं पूर्व मंत्री गोविंद सिंह ठाकुर ने इस घटना को लेकर प्रदेश सरकार पर तीखे सवाल खड़े किए हैं। उन्होंने कहा कि जब सरकार के पास पहले से ही एक किराए का हेलीकॉप्टर मौजूद है, जिसका खर्च सामान्य प्रशासन विभाग वहन करता है, तो फिर इस निजी हेलीकॉप्टर की जरूरत क्यों पड़ी? क्या यह कोई व्यक्तिगत दौरा था या कोई ऐसा ‘गोपनीय कार्य’ जिसकी जानकारी प्रदेश की जनता से छिपाई जा रही है? और यदि यह सरकारी था, तो फिर किस विभाग के बजट से यह खर्च उठाया जाएगा? ठाकुर ने कहा कि यह वही सरकार है जो हिम केयर योजना के तहत पीजीआई में गरीब मरीजों के इलाज का ₹14.38 करोड़ भुगतान नहीं कर पाई, लेकिन उसके मंत्री निजी हेलीकॉप्टर में उड़ते नजर आ रहे हैं। वृद्धाश्रमों में रह रहे मानसिक व विकलांग लोगों के लिए एक वर्ष से फंड अटका पड़ा है, और सरकार की प्राथमिकताएं निजी यात्राओं में उलझी हैं। उन्होंने कहा कि कांग्रेस सरकार को यह स्पष्ट करना होगा कि वह जनता की सेवा कर रही है या सत्ता के नशे में उड़ान भर रही है। उन्होंने इस पूरे मामले में पारदर्शिता की मांग उठाई है और कहा कि भाजपा जल्द ही इस मुलाकात का सच जनता के सामने लाया जाएगा।
कुल्लू , 19 अप्रैल [ विशाल सूद ] ! प्रदेश की राजनीति इन दिनों एक अनोखी उड़ान पर है। हाल ही में प्रदेश के उपमुख्यमंत्री एवं पंचायती राज मंत्री अनिरुद्ध सिंह की एक निजी हेलीकॉप्टर के माध्यम से की गई गुप्त मुलाकात ने पूरे हिमाचल में चर्चा का विषय बना दिया है। इस यात्रा को लेकर न सुरक्षा अधिकारी मौजूद थे और न ही जिला प्रशासन की कोई भूमिका नजर आई—आख़िर यह मुलाकात थी तो थी किससे?
भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश उपाध्यक्ष एवं पूर्व मंत्री गोविंद सिंह ठाकुर ने इस घटना को लेकर प्रदेश सरकार पर तीखे सवाल खड़े किए हैं। उन्होंने कहा कि जब सरकार के पास पहले से ही एक किराए का हेलीकॉप्टर मौजूद है, जिसका खर्च सामान्य प्रशासन विभाग वहन करता है, तो फिर इस निजी हेलीकॉप्टर की जरूरत क्यों पड़ी? क्या यह कोई व्यक्तिगत दौरा था या कोई ऐसा ‘गोपनीय कार्य’ जिसकी जानकारी प्रदेश की जनता से छिपाई जा रही है? और यदि यह सरकारी था, तो फिर किस विभाग के बजट से यह खर्च उठाया जाएगा?
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ठाकुर ने कहा कि यह वही सरकार है जो हिम केयर योजना के तहत पीजीआई में गरीब मरीजों के इलाज का ₹14.38 करोड़ भुगतान नहीं कर पाई, लेकिन उसके मंत्री निजी हेलीकॉप्टर में उड़ते नजर आ रहे हैं। वृद्धाश्रमों में रह रहे मानसिक व विकलांग लोगों के लिए एक वर्ष से फंड अटका पड़ा है, और सरकार की प्राथमिकताएं निजी यात्राओं में उलझी हैं।
उन्होंने कहा कि कांग्रेस सरकार को यह स्पष्ट करना होगा कि वह जनता की सेवा कर रही है या सत्ता के नशे में उड़ान भर रही है। उन्होंने इस पूरे मामले में पारदर्शिता की मांग उठाई है और कहा कि भाजपा जल्द ही इस मुलाकात का सच जनता के सामने लाया जाएगा।
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