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चम्बा ! वैश्विक आध्यात्मिक गुरु श्रीश्री रवि शंकर 21 दिसंबर को संयुक्त राष्ट्र महासभा द्वारा विश्व ध्यान दिवस के रूप में घोषित किए जाने के बाद एक ऐतिहासिक लाइव वैश्विक ध्यान का मार्गदर्शन करेंगे। 21 दिसंबर को गुरुदेव एक वैश्विक ध्यान का आयोजन करेंगे, जिसमें करोड़ों लोग शीतकालीन संक्रांति के अवसर पर एक साथ शाम आठ बजे ध्यान करेंगे। गुरुदेव के इस कार्यक्रम से जिला चंबा के लोग भी ऑनलाइन माध्यम से जुड़ेंगे। जिला मुख्यालय चंबा के अलावा भरमौर, पांगी, चुराह, डलहौजी, सलूणी, भटियात सहित अन्य क्षेत्रों के लोग इसका हिस्सा बनेंगे। यह जानकारी आर्ट ऑफ लिविंग के जिला मीडिया प्रबंधक चंबा मनुज शर्मा ने दी। उन्होंने बताया कि यह क्षण एक नई शुरुआत का प्रतीक है। यह, ध्यान के अद्भुत और परिवर्तनकारी लाभों को वैश्विक स्तर पर स्वीकार किए जाने का दिन है। ध्यान न केवल लोगों के मानसिक और शारीरिक स्वास्थ्य के लिए लाभदायक है, बल्कि यह समाज में शांति और एकता का संदेश भी देता है। विश्व ध्यान दिवस एक वार्षिक उत्सव बनने जा रहा है जो पूरी दुनिया को एकसूत्र में जुड़ने का अवसर प्रदान करेगा। भारत के स्थायी मिशन द्वारा 20 दिसंबर 2024 को संयुक्त राष्ट्र मुख्यालय न्यूयॉर्क में विश्व ध्यान दिवस का आयोजन किया जाएगा। इस समारोह में गुरुदेव श्रीश्री रवि शंकर मुख्य वक्ता होंगे। यह ऐतिहासिक अवसर "वैश्विक शांति और सामंजस्य के लिए ध्यान" विषय पर आयोजित किया जाएगा जो पहले विश्व ध्यान दिवस के रूप में मान्यता प्राप्त करेगा। इस दौरान गुरुदेव वैश्विक नेताओं, संयुक्त राष्ट्र के वरिष्ठ अधिकारियों, राजनयिकों और अंतरराष्ट्रीय प्रतिनिधियों को संबोधित करेंगे, जिसमें ध्यान की, शांति और एकता बढ़ाने में महत्त्वपूर्ण भूमिका को रेखांकित किया जाएगा। मनुज शर्मा ने बताया कि संयुक्त राष्ट्र महासभा द्वारा विश्व ध्यान दिवस को सर्वसम्मति से स्वीकार किया जाना एक महत्त्वपूर्ण कदम है जो यह दर्शाता है कि ध्यान बढ़ते तनाव, हिंसा और समाज में विश्वास और संबंधों के क्षय जैसी आधुनिक जीवन की समस्याओं का समाधान प्रदान कर सकता है। गुरुदेव के मार्गदर्शन में पिछले 43 वर्षों में 180 देशों के करोड़ों लोग ध्यान से होने वाले अनन्य लाभों का अनुभव कर चुके हैं। गुरुदेव का मानना है कि ध्यान मानसिक स्पष्टता, भावनात्मक संतुलन और सामाजिक सामंजस्य की दिशा में सबसे प्रभावी उपकरण है। भौगोलिक संघर्षों से लेकर व्यक्तिगत समस्याओं तक, ध्यान एक सार्वभौमिक समाधान है। ध्यान राष्ट्र, संस्कृति और विश्वास की सीमाओं को पार कर लोगों में आंतरिक शांति और बाहरी उत्साह का संचार करता है और इसके साथ ही वैश्विक शांतिप्रयासों का एक मुख्य आधार बनता है। मनुज शर्मा ने जिला चंबा के लोगों से उक्त कार्यक्रम से ऑनलाइन माध्यम से अधिक से अधिक संख्या में जुड़ें।
चम्बा ! वैश्विक आध्यात्मिक गुरु श्रीश्री रवि शंकर 21 दिसंबर को संयुक्त राष्ट्र महासभा द्वारा विश्व ध्यान दिवस के रूप में घोषित किए जाने के बाद एक ऐतिहासिक लाइव वैश्विक ध्यान का मार्गदर्शन करेंगे। 21 दिसंबर को गुरुदेव एक वैश्विक ध्यान का आयोजन करेंगे, जिसमें करोड़ों लोग शीतकालीन संक्रांति के अवसर पर एक साथ शाम आठ बजे ध्यान करेंगे। गुरुदेव के इस कार्यक्रम से जिला चंबा के लोग भी ऑनलाइन माध्यम से जुड़ेंगे। जिला मुख्यालय चंबा के अलावा भरमौर, पांगी, चुराह, डलहौजी, सलूणी, भटियात सहित अन्य क्षेत्रों के लोग इसका हिस्सा बनेंगे। यह जानकारी आर्ट ऑफ लिविंग के जिला मीडिया प्रबंधक चंबा मनुज शर्मा ने दी। उन्होंने बताया कि
यह क्षण एक नई शुरुआत का प्रतीक है। यह, ध्यान के अद्भुत और परिवर्तनकारी लाभों को वैश्विक स्तर पर स्वीकार किए जाने का दिन है। ध्यान न केवल लोगों के मानसिक और शारीरिक स्वास्थ्य के लिए लाभदायक है, बल्कि यह समाज में शांति और एकता का संदेश भी देता है। विश्व ध्यान दिवस एक वार्षिक उत्सव बनने जा रहा है जो पूरी दुनिया को एकसूत्र में जुड़ने का अवसर प्रदान करेगा।
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भारत के स्थायी मिशन द्वारा 20 दिसंबर 2024 को संयुक्त राष्ट्र मुख्यालय न्यूयॉर्क में विश्व ध्यान दिवस का आयोजन किया जाएगा। इस समारोह में गुरुदेव श्रीश्री रवि शंकर मुख्य वक्ता होंगे। यह ऐतिहासिक अवसर "वैश्विक शांति और सामंजस्य के लिए ध्यान" विषय पर आयोजित किया जाएगा जो पहले विश्व ध्यान दिवस के रूप में मान्यता प्राप्त करेगा।
इस दौरान गुरुदेव वैश्विक नेताओं, संयुक्त राष्ट्र के वरिष्ठ अधिकारियों, राजनयिकों और अंतरराष्ट्रीय प्रतिनिधियों को संबोधित करेंगे, जिसमें ध्यान की, शांति और एकता बढ़ाने में महत्त्वपूर्ण भूमिका को रेखांकित किया जाएगा।
मनुज शर्मा ने बताया कि संयुक्त राष्ट्र महासभा द्वारा विश्व ध्यान दिवस को सर्वसम्मति से स्वीकार किया जाना एक महत्त्वपूर्ण कदम है जो यह दर्शाता है कि ध्यान बढ़ते तनाव, हिंसा और समाज में विश्वास और संबंधों के क्षय जैसी आधुनिक जीवन की समस्याओं का समाधान प्रदान कर सकता है। गुरुदेव के मार्गदर्शन में पिछले 43 वर्षों में 180 देशों के करोड़ों लोग ध्यान से होने वाले अनन्य लाभों का अनुभव कर चुके हैं। गुरुदेव का मानना है कि ध्यान मानसिक स्पष्टता, भावनात्मक संतुलन और सामाजिक सामंजस्य की दिशा में सबसे प्रभावी उपकरण है।
भौगोलिक संघर्षों से लेकर व्यक्तिगत समस्याओं तक, ध्यान एक सार्वभौमिक समाधान है। ध्यान राष्ट्र, संस्कृति और विश्वास की सीमाओं को पार कर लोगों में आंतरिक शांति और बाहरी उत्साह का संचार करता है और इसके साथ ही वैश्विक शांतिप्रयासों का एक मुख्य आधार बनता है। मनुज शर्मा ने जिला चंबा के लोगों से उक्त कार्यक्रम से ऑनलाइन माध्यम से अधिक से अधिक संख्या में जुड़ें।
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