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चम्बा , 30 जनवरी [ शिवानी ] ! स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग चम्बा द्वारा आज 30 जनवरी 2025 को कुष्ठ रोगी अस्पताल मे कुष्ठ रोग उन्मूलन दिवस का आयोजन किया गया जिस की अध्य्क्षता मुख्य चिकित्सा अधिकारी चम्बा डॉ विपन ठाकुर ने की. इस अवसर पर पंडित जवाहर लाल नेहरू मेडिकल कॉलेज की जी एनम की छात्रों ने भी भाग लिया. छात्रों के लिए इस अवसर पर लेपरोसी से जुड़ी जानकरी के पोस्टर मेकिंग का आयोजन किया गया. मुख्य चिकित्सा अधिकारी द्वारा उन सब छात्रों को सम्मानित किया गया . राष्ट्रीय कुष्ठ रोग उन्मूलन कार्यक्रम के अंतर्गत इस जागरूकता कार्यक्रम पर मुख्य चिकित्सा अधिकारी ने छात्रों ओर रोगियों को सम्बोधित करते हुए बताया कि कुष्ठ रोग एक धीमी गति से फैलने वाली संक्रामक बीमारी है जिसका कीटाणु शरीर में प्रवेश करने के बाद इसके लक्षण आने में लगभग 4 से 6 साल लग जाते हैं।इसके शुरुआती लक्षणों में मुख्यत : शरीर के किसी भी हिस्से में एक या एक से अधिक सफेद, लाल अथवा ताम्बेयी रंग के दाग होना जिन में संवेदनशीलता न हो अर्थात जिनमें सुन्नपन हो ,कुष्ठ रोग की निशानी हो सकते हैं। जिनका समय पर निदान कर एवं जल्दी उपचार करवा कर इससे पूर्णत : स्वस्थ हुआ जा सकता है एवम इससे होने वाली अपंगता से बचा जा सकता है।इसका उपचार एमडीटी थरेपि से एक साल तक का होता है। उन्होंने बताया कि जिला चंबा में वर्तमान में कुल 8 रोगी कुष्ठ रोग से पीड़ित हैं जिनका इलाज एमडीटी से हो रहा है।उन्होंने बताया कि वैश्विक स्तर पर ,राष्ट्रीय स्तर ,राज्य एवम जिला स्तर पर कुष्ठ रोग के उन्मूलन हेतु विभिन्न कार्यक्रम चलाये जाते हैं जैसे एक्टिव केस फाइंडिंग कंपेन, एंटी लेप्रसी डे एवं स्पर्श कंम्पेन चलाये जाते है. जिसका मुख्य उद्देश्य समाज में इस बीमारी के प्रति लोगों की गलत धारणाओं को दूर करके ,इस बीमारी के प्रति जागरूक करके, समय पर निदान एवं उपचार द्वारा समाज में से इस बीमारी को दूर करना है। इस अवसर पर जिला स्वास्थ्य अधिकारी डॉ जे एस भारद्वाज ने बताया की देश मे इस बीमारी को खत्म करने के लिए हर व्यक्ति को इस बीमारी के प्रति जागरूक करना होगा. इस के लिए आम जन मानस के साथ साथ जिला के सभी स्वास्थ्य अधिकारियों को अपनी भूमिका निभानी होगी।जिसमें स्वास्थ्य अधिकारी अपने अपने क्षेत्र की आशा वर्कर ,स्वास्थ्य कार्यकर्ता को लक्षणों के आधार पर कुष्ठ रोगी को पहचानने में मदद करेंगे तथा स्वास्थ्य कार्यकर्ता एवं आशा वर्कर अपने क्षेत्र में स्क्रींनिग के द्वारा कुष्ठ रोगी का पता लगाएगी और संभावित रोगी को आगे चिकित्सा अधिकारी एवं स्वास्थ्य संस्थान जहां चर्म रोग विशेषज्ञ उपलब्ध हों उनके पास उन्हें निदान एवं उपचार के लिए भेजें. जिस से इस बीमारी ओर उस के प्रभाव को कम किया जा सकता है. इस अवसर पर जिला कार्यक्रम अधिकारी कुष्ठ रोग डॉ वेंहेवि गुरग. प्राचार्य जी एनम स्कूल स्वस्थ्य शिक्षक निर्मला, दीपक जोशी भी उपस्थित रहे.
चम्बा , 30 जनवरी [ शिवानी ] ! स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग चम्बा द्वारा आज 30 जनवरी 2025 को कुष्ठ रोगी अस्पताल मे कुष्ठ रोग उन्मूलन दिवस का आयोजन किया गया जिस की अध्य्क्षता मुख्य चिकित्सा अधिकारी चम्बा डॉ विपन ठाकुर ने की. इस अवसर पर पंडित जवाहर लाल नेहरू मेडिकल कॉलेज की जी एनम की छात्रों ने भी भाग लिया. छात्रों के लिए इस अवसर पर लेपरोसी से जुड़ी जानकरी के पोस्टर मेकिंग का आयोजन किया गया. मुख्य चिकित्सा अधिकारी द्वारा उन सब छात्रों को सम्मानित किया गया .
राष्ट्रीय कुष्ठ रोग उन्मूलन कार्यक्रम के अंतर्गत इस जागरूकता कार्यक्रम पर मुख्य चिकित्सा अधिकारी ने छात्रों ओर रोगियों को सम्बोधित करते हुए बताया कि कुष्ठ रोग एक धीमी गति से फैलने वाली संक्रामक बीमारी है जिसका कीटाणु शरीर में प्रवेश करने के बाद इसके लक्षण आने में लगभग 4 से 6 साल लग जाते हैं।इसके शुरुआती लक्षणों में मुख्यत : शरीर के किसी भी हिस्से में एक या एक से अधिक सफेद, लाल अथवा ताम्बेयी रंग के दाग होना जिन में संवेदनशीलता न हो अर्थात जिनमें सुन्नपन हो ,कुष्ठ रोग की निशानी हो सकते हैं।
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जिनका समय पर निदान कर एवं जल्दी उपचार करवा कर इससे पूर्णत : स्वस्थ हुआ जा सकता है एवम इससे होने वाली अपंगता से बचा जा सकता है।इसका उपचार एमडीटी थरेपि से एक साल तक का होता है। उन्होंने बताया कि जिला चंबा में वर्तमान में कुल 8 रोगी कुष्ठ रोग से पीड़ित हैं जिनका इलाज एमडीटी से हो रहा है।उन्होंने बताया कि वैश्विक स्तर पर ,राष्ट्रीय स्तर ,राज्य एवम जिला स्तर पर कुष्ठ रोग के उन्मूलन हेतु विभिन्न कार्यक्रम चलाये जाते हैं जैसे एक्टिव केस फाइंडिंग कंपेन, एंटी लेप्रसी डे एवं स्पर्श कंम्पेन चलाये जाते है.
जिसका मुख्य उद्देश्य समाज में इस बीमारी के प्रति लोगों की गलत धारणाओं को दूर करके ,इस बीमारी के प्रति जागरूक करके, समय पर निदान एवं उपचार द्वारा समाज में से इस बीमारी को दूर करना है। इस अवसर पर जिला स्वास्थ्य अधिकारी डॉ जे एस भारद्वाज ने बताया की देश मे इस बीमारी को खत्म करने के लिए हर व्यक्ति को इस बीमारी के प्रति जागरूक करना होगा.
इस के लिए आम जन मानस के साथ साथ जिला के सभी स्वास्थ्य अधिकारियों को अपनी भूमिका निभानी होगी।जिसमें स्वास्थ्य अधिकारी अपने अपने क्षेत्र की आशा वर्कर ,स्वास्थ्य कार्यकर्ता को लक्षणों के आधार पर कुष्ठ रोगी को पहचानने में मदद करेंगे तथा स्वास्थ्य कार्यकर्ता एवं आशा वर्कर अपने क्षेत्र में स्क्रींनिग के द्वारा कुष्ठ रोगी का पता लगाएगी और संभावित रोगी को आगे चिकित्सा अधिकारी एवं स्वास्थ्य संस्थान जहां चर्म रोग विशेषज्ञ उपलब्ध हों उनके पास उन्हें निदान एवं उपचार के लिए भेजें.
जिस से इस बीमारी ओर उस के प्रभाव को कम किया जा सकता है. इस अवसर पर जिला कार्यक्रम अधिकारी कुष्ठ रोग डॉ वेंहेवि गुरग. प्राचार्य जी एनम स्कूल स्वस्थ्य शिक्षक निर्मला, दीपक जोशी भी उपस्थित रहे.
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