शिमला ! कार्टन पर जीएसटी बढ़ाने और कीटनाशक के दामो में बढ़ोतरी के खिलाफ बागवानों ने मोर्चा खोल दिया है और शिमला सचिवालय के बाहर प्रदर्शन करने पहुंचे । हजारो के तदात में बागबानो ने नवबहार से छोटा शिमला तक आक्रोश रैली निकाली और सचिवालय के बाहर प्रदर्शन किया। सचिवालय के बाहर सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए थे और सड़क को भी यातायात के लिए बन्द कर दी गया ।
बागवानों ने रोष रैली निकाल कर सचिवालय के बाहर पहुच कर सरकार के खिलाफ हल्ला बोला और जमकर नारेबाजी की। बागवानों ने सरकार पर बागवानों की अनदेखी के आरोप लगाए लगाए है और कार्टन पर जीएसटी को वापिस लेने की मांग कर रहे है। इस दौरान सचिवालय के साथ ही बेरिगेट लगा कर प्रदर्शन कर रहे बागवानों को रोका गया वही बागवानों द्वारा बेरिगेट हटाने का प्रयास भी किया इस दौरान उनकी पुलिस से हल्की धक्कामुक्की भी हुई।
उनका कहना है कि कार्टन के दाम बढ़ने से महगाई का बोझ बढ़ गया है और लागत भी नही निकल रही है सरकार सेव आर्थिकी को खत्म करने पर तुली है। उन्होंने तृरन्त प्रभाव से जीएसटी वापिस लेने की मांग की।
राकेश सिंह ने कहा कि किसान ऋण में डूब गया है और बागवानी अब नुकसान में डूब गई है। अधिकारी दफ्तरों में बैठक कर नीति बना रहे है जबकि हकीकत जमीन पर जा कर देखना चाहिए। प्रदेश सरकार को बागवानों के हितों में नीति बनानी चाहिए लेकिन ये सरकार किसान बागवानों के विरोध में नीति बना कर उन्हें बर्बाद कर रही है। आज सेब की लागत इतनी ज्यादा हो गई जिससे बागवानी घाटे का सौदा साबित हो रहा है।इस सरकार को कई बार अल्टीमेटम दे चुके है लेकिन ये सरकार नींद से नही जाग रही है जिससे आज सड़को पर उतर कर प्रदर्शन करना पड़ रहा है।
वही कांग्रेस के विधायक रोहित ठाकुर ने कहा कि ये किसी दल का प्रदर्शन नही है बल्कि बागवानों का प्रदर्शन है । आज जिला शिमला के सभी बागवान भाजपा सरकार के फेसलो के खिलाफ सड़को पर उतरे है। इस सरकार ने 5 सालो में किसान बागवानों के हक में कोई फैसला नही लिया सरकार द्वारा जीएसटी बढ़ा कर बागवानों की मुश्किलें बढ़ा दी है जिसके खिलाफ आज बागवान सड़को पर उतर रहे है और अभी भी बागवानों की हितों में सरकार ये फैसले नही लेती तो दो महीने बाद जनता इन्हें चुनाव में जवाब देगी।
वही आप किसान विंग के अध्यक्ष अमरिंदर सिंह नॉटी भी कई कर्ताओ के साथ किसानों के समर्थन देने पहुंचे । उन्होंने कहा कि काफी लंबे समय से हिमाचल के किसान अपने हको के लिए सघर्ष कर रहे है । लेकिन केन्द्र और प्रदेश की सरकार इन किसानों और बागवानों के साथ अन्याय कर रही थी । जिसके चलते आज सभी संगठनों ने राजनीति से ऊपर उठकर एकजुटता का परिचय दिया है सभी ने इन किसानों बागवानों का समर्थन देने का फैसला लिया है। उन्होंने कहा कि जब तक भाजपा की सरकार प्रदेश से केन्द्र तक अपनी नीतियों को नही बदलती जब तक किसानों और बागवानों को न्याय नही मिलता और सरकार नींद से नही जागती तब तक ये संघर्ष जारी रहेगा ।